पिछले कुछ सालों में योग (yoga) को लेकर जागरूकता बढ़ी है और यही वजह है कि बच्चों, महिलाओं और पुरुषों ने इसे अपने जीवन में प्रमुखता से तरजीह दी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) द्वारा भी योग के प्रचार प्रसार को तवज्जो दी गई जिसका असर यह रहा कि हम सब प्राणायाम, योग और विभिन्न आसनों से न सिर्फ वाकिफ हुए बल्कि उन्हें करना भी शुरू किया. मगर क्या आप जानते हैं कि बच्चों, पुरुषों और महिलाओं के अलावा रोगियों और कमजोर लोगों के लिए योग को लेकर कुछ नियम है. ऐसा नहीं है कि प्रत्येक आसन हर कोई कर सकता है. हमने इस विषय पर राजस्थान सरकार से नेचुरोपैथी और योग के क्षेत्र में सम्मान प्राप्त एक्यूप्रेशर स्पेशलिस्ट और योग टीचर डॉक्टर मनोज योगाचार्य से इस बारे में बात की.
महिलाओं को आसन या प्राणायाम को लेकर किन बातों को ध्यान में रखना चाहिए, मासिक धर्म के दौरान कौन से आसन करने चाहिए और कौन से एकदम नहीं करने चाहिए जैसे सवालों पर उन्होंने बताया कि खासतौर पर पीरियड के दौरान महिलाओं को योग को लेकर कुछ बातें ध्यान में रखनी चाहिए.
1- जितने भी आसन पेट या ओवरी के इर्द- गिर्द के होते हैं, वे न करें. जो भी आसन पेट और गर्भाशय के हिस्से के ऊपर के हैं, वे आसन कर सकते हैं, जैसे कि सर्वाइकल संबंधी, ताली बजाना, हाथों, गर्दन के आसन कर सकते हैं. लंग्स से रिलेटेड योगासन कर सकते हैं. औरतों को पीरियड्स के समय अनुलोम- विलोग और भ्रामरी ही करने चाहिए.
2- जिन आसनों को करें उनके मामले में भी यह ध्यान रखें कि अपनी सांस की गति सामान्य रखें. अच्छा तो यह होगा कि सांस की गति धीमी रखी जाए. सांस तेज गति से न लें. थकावट लगने लगे तो डीप ब्रीथिंग करें और कुछ देर रुक जाएं. ज्यादा प्रेशर न लें.
3- इसके अलावा यह यौगिक क्रिया जरूर कर लिया करें- पैरों की एड़ी के ऊपर का पार्ट (कलाई जैसा) और हाथों की कलाई को रब करना है. जैसे चूड़ियां होती हैं, वैसे गोल गोल घुमाना. दूसरे हाथ के अंगूठे और चारों उंगलियों से हाथ की कलाई को पकड़ें और इसे गोल-गोल घुमाते हुए रब करें. यह 2 मिनट प्रतिदिन करेंगे तो बेहतर है. पीरियड्स के समय में क्रैंम्प्स आदि में इससे बहुत लाभ मिलेगा.
4- मासिक धर्म के दौरान लड़कियां क्रैम्प्स से बेहद परेशान रहती हैं. अच्छा होगा यदि पीरियड्स के बाद या पहले वाले समय में आप बटरफ्लाई आसन करने की आदत डाल लें. साथ ही मंडूकासन करना भी बेहतर है और यह सबसे अच्छा है जब किसी महिला को कई कई महीने तक पीरियड्स न आते हों.
5- यहां आपको बता दें कि मौसम जो भी हो, पानी अधिक से अधिक पीना चाहिए. देखा गया है कि काम काज के बीच औरतें पानी की जरूरत का केवल 50 फीसदी ही पीती हैं. लगभग 6-7 गिलास (आमतौर पर) एक दिन में जरूर पीना चाहिए. इसके अलावा लिक्विड चीजें भी पीनी चाहिए.
किसी भी उम्र की महिला को अपने शरीर और उम्र के मुताबिक ही आसनों का चयन करना चाहिए. इसीलिए कहा जाता है कि योग हमेशा किसी प्रशीक्षित की सलाह पर करें. हम इस लेख के मार्फत आपको यही कहने जा रहे हैं कि महिलाएं योगासनों का चयन परामर्श के बाद ही करें.
(नेटवर्क 18 की हिन्दी वेबसाइट Hindi.News18.com पर पब्लिश्ड मेरा आर्टिकल)
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